Rana Naidu Season 2 Review – मुझे हमेशा ऐसे किरदार बहुत आकर्षित करते हैं जो बाहर से पत्थर जैसे मजबूत लगते हैं, लेकिन अंदर से बिखरे हुए होते हैं। Rana Naidu के दूसरे सीज़न में एक बार फिर वही गहराई और दर्द झलकता है, जो सीधे दिल को छू जाता है। राणा की ज़िंदगी दो हिस्सों में बंटी हुई है — एक तरफ अमीरों की गंदगी साफ करने वाला प्रोफेशनल फिक्सर, और दूसरी तरफ एक ऐसा इंसान जो अपने फैमिली की खुशी के लिए सारी हदे पार भी कर सकता है।
लेकिन सच कहूं तो इस बार सीरीज ने उतना असर नहीं छोड़ा जितना पहले हिस्से में था। एक्शन है, स्टाइल है, लेकिन वो दिल से जुड़ने वाली बात कहीं-कहीं मिस हो गई। फिर भी, राणा की परफॉर्मेंस ने मुझे कई जगह रुककर सोचने पर मजबूर कर दिया — क्या हम भी अपने रिश्तों को यूं ही सुलझा सकते हैं जैसे वो दूसरों की ज़िंदगी के मसले सुलझाता है?
और हां… अगर आपको लग रहा है कि इतना जान लेना काफी है, तो थोड़ा रुकिए! असली पिक्चर अभी बाकी है दोस्त। इस रिव्यू में वो सब कुछ है जो आमतौर पर बाकी वेबसाइट्स छुपा लेती हैं — चाहे बात हो कहानी के असली ट्विस्ट की, किरदारों की गहराई की या फिर सीज़न 3 के इशारों की!
मैंने इसे एक Rana Naidu Season 2 Review के तरह नहीं लिखा है मैंने इसे एक डाई हार्ड सिनेमा लवर की नज़रो से लिखा है जिससे आपको किसी भी बारे में राये न मिले बल्कि आप इसे पड़ो तो ऐसे लगे जैसे आप खुद देख रहे हो।
तो देर किस बात की? चलिए, अब गहराई में उतरते हैं — हर परत को खोलते हुए!
Rana Naidu Season 2 Details
Director | Supern Verma, karan Anshuman |
Genre | Action, Crime Drama |
Rana Naidu Season 2 Cast | Venkatesh Daggubati, Rana Daggubati ,Suchitra |
No. of episodes | 18 |
Cinemavinema Rating | 3/5 ⭐ |
Rana Naidu Season 2: इस बार कहानी ज़ख़्म भी देती है और राज़ भी खोलती है!
जब मैंने Rana Naidu Season 2 Review देखना शुरू किया, दिल में बस एक ही ख्याल था — शायद इस बार राणा अपने अंदर की उथल-पुथल से बाहर निकल पाएगा, पुराने घावों को पीछे छोड़ पाएगा। लेकिन जैसे-जैसे कहानी खुलती गई, लगा कि कुछ जख़्म इतने गहरे होते हैं, जो वक्त के साथ नहीं, टकराव के साथ ही सुलझते हैं। — लेकिन इस सीजन ने मेरे साथ और बाकि लोगो को भी चौका कर रख दिया।
वो फिक्सर जो किसी का भी स्कैंडल मिनटों में निपटा देता है, अब अपने ही परिवार की बिखरी डोर को पकड़ने की कोशिश में उलझा है।
सबसे बड़ा ट्विस्ट तब आता है जब Rauf Mirza (Arjun Rampal) की एंट्री होती है — और उसी पल से Rana Naidu Season 2 की कहानी एक थ्रिलर मिशन से बदलकर एक गहराई से भरी पर्सनल फैमिली ड्रामा बन जाती है। यही वो पल है जब शो अपने इमोशनल और सस्पेंसफुल एलिमेंट्स को असली ताकत देता है।
राणा का चहेता बेटा किसी अज्ञात के द्वारा किडनैप कर लिया गया है, और न चाहते हुए भी राणा उसी काली दुनिया में चला जाता है जहा से उनसे निकल कर एक अच्छी जिंदगी जीने की तैयारी की थी।
ये सीज़न मुझे सिर्फ़ क्राइम थ्रिलर नहीं लगा — असल में इसकी कहानी एक ऐसे व्यक्ति है जो अपराध और बिना ज्यादा रिसोर्सेस के एक ऐसी जंग लड़ रहा है जहा शायद हो हार भी सकता है।
आइये इस rana naidu 2 story के बारे में और भी बिस्तार से जानते हैं ।
और इस बार कहानी मे चीज़ें और भी उलझ चुकी हैं!
- इस सीजन में विराज ओबेरॉय (रजत कपूर) पावरफुल सख्सियत से राणा जो मीटिंग, जो गेम को और बड़ा और खतरनाक बनाता है
- आलिया (कृति खरबंदा) और चिराग (तनुज विरवानी) दोनों के बीच में बिज़नेस को लेकर युद्ध जैसा माहौल देखने को मिलेगा।
- नागा (वेंकटेश) अपने एजेंडे में व्यस्त हैं, जबकि राणा के भाई भी अपने-अपने मोर्चों पर लड़ रहे हैं
- नैना (सुरवीन चावला) और राणा के बीच की दूरी अब खतरे की घंटी बन गई है — क्योंकि अब कहानी में एक अंडरकवर पुलिसवाला नवीन (डिनो मोरिया) भी आ चुका है
शो के इस हिस्से ने मुझे सोचने पर मजबूर कर दिया — जब हम दूसरों की ज़िंदगियां सुधारने में या उन्हें जीवन की अच्छी सलाह देने में लगे रहते हैं, उसी बीच कब हमारी जिंदगी बर्बादी की तरफ चल पड़ती है, पता भी नहीं चलता।
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Rana Naidu 2 Trailer
Rana Naidu Season 2 Review In Hindi
‘राणा नायडू सीजन 2’ में कहानी को करण अंशुमन, सुपर्ण वर्मा और अभय चावला ने मिलकर गढ़ा है, लेकिन कई जगहों पर स्क्रिप्ट बिखरी-बिखरी सी लगती है। खासकर ओबेरॉय फैमिली का ट्रैक थोड़ा कमजोर पड़ता है, जहां क्रिकेट वाला एंगल ऐसा महसूस होता है मानो ‘इनसाइड एज’ की पुरानी यादों को दोबारा पेश किया जा रहा हो — बस किरदार और सेटिंग बदल गए हैं।
Rana Naidu Season 2 देखने के दौरान ऐसा महसूस हुआ जैसे मैं फिर से किसी पुराने दोस्त की अधूरी, बिखरी हुई ज़िंदगी के पन्नों को पलट रहा हूँ — एक ऐसी कहानी जो भले ही थमी न हो, लेकिन हर बार नया दर्द लेकर लौटती है।
अच्छा यह पिछले सीजन की तरह एक Indian crime series नहीं, बल्कि इसने मेरे दिल और दिमाग दोनों पर असर किया है जब आप इसको देखोगे तो आप भी इसे खुद से जोड़ सकोगे।
अब तक अगर अपने इस Rana Naidu Season 2 Review को यहाँ तक पड़ लिया है तो आप महसूस कर पा रहे होंगे राणा बाहर से तो सख्त दिखाई देता है लेकिन अंदर से टूटा हुआ होता है। लेकिन बाहर से ठोस बना रहता है। दूसरी तरफ अर्जुन रामपाल का रऊफ, जो ठंडे लहजे में कहता है, “सिस्टम नहीं, मैं चलता हूँ।” जब दोनों आमने-सामने आते हैं, तो सच मानिए — स्क्रीन पर आग लग जाती है।
- Kriti Kharbanda ने मेरा ध्यान सबसे ज्यादा खींचा क्योकि उन्हें डायरेक्शन टीम ने बहुत ही कम स्क्रीन टाइम दिया उसके बाद भी उन्होंने स्क्रीन पर अपना जलवा दिखा दिया।
- Tanuj Virwani का एक दम से कहानी से गायब होना इस फिल्म का एक नेगेटिव हिस्सा दिखता है।
- अगर मैं प्री-क्लाइमैक्स की तुलना करने लगु , तो हाँ — यह थोड़ा Mirzapur-inspired लगता है।
- Supporting characters जैसे Sushant Singh और Abhishek Banerjee ने भी दमदार परफॉरमेंस दी है।
ये सीरीज़ एक typical Netflix India thriller जरूर है, लेकिन उसमें जो परिवार, फिक्सिंग, और अतीत की जंग है — बो इसे मस्ट वाच बना देती है। Venkatesh Daggubati का नागा थोड़ा over-the-top लगता है, लेकिन उनके इमोशनल मोमेंट्स कहीं न कहीं relatable भी हैं।